हिन्दी के दौड़ते भागते विचारों का चौराहा .......
वो जो थोड़ा सा मुस्कुरा देते हैं। ना जाने कितने गम छुपा लेते हैं। ख़ुदा महफ़ूज रखे मेरे दुश्मनों को, जो मेरे ऐब जमाने को बता देते हैं।
No comments:
Post a Comment